7:33 am Friday , 31 January 2025
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भारतीय हिंदी सेवी पंचायत के तत्वावधान मे काव्य गोष्ठी का आयोजन

तिरंगे में लिपटा वो तन चाहता हूं।

भारतीय हिंदी सेवी पंचायत के तत्वावधान मे राष्ट्र भाषा हिंदी के उन्नयन हेतु मासिक काव्य परिसंवाद कार्यक्रम के अंतर्गत प्रथम काव्य गोष्ठी का आयोजन शिव पुरम बदायूं स्थित डॉ सुशील कुमार सिंह के कार्यालय पर जन दृष्टि (व्यवस्था सुधार मिशन) के अध्यक्ष/ संस्थापक हरि प्रताप सिंह राठौड़ एडवोकेट की अध्यक्षता में किया गया, मुख्य अतिथि के रूप में महाराणा प्रताप विकास ट्रस्ट के जिला अध्यक्ष विपिन कुमार सिंह उपस्थित रहे।

सर्व प्रथम मां सरस्वती एवम आदि कवि वाल्मीकि के चित्र पर अतिथिगण व कविगण द्वारा माल्यार्पण किया गया तत्पश्चात कवि राजवीर सिंह ने सरस्वती वन्दना एवम मधुप्रिया चौहान द्वारा गणेश वन्दना प्रस्तुत की गई।

प्रभाकर सक्सेना ने देश भक्ति गीत पढ़ते हुए कहा-

आजादी का दिन आया है, गीत खुशी के गाएंगे।
थाम तिरंगा हम हाथों में, भारत राग सुनाएंगे।।

राजवीर सिंह ‘तरंग’ ने भी देश भक्ति का गीत पढ़ा –

तिरंगे में लिपटा, वो तन चाहता हूँ,
प्रेम तुमसे करे ,वह मन चाहता हूँ।
जो तेरी हिफाजत ,सदा काम आवे,
मैं ईश्वर से ऐसा,जन्म चाहता हूँ ।।

मधु प्रिया चौहान ने पढा –

सागर चरणों को धोता है, खड़ा हिमालय सिर पर ताज।
कल -कल नदियाँ ऐसे बहतीं ,जैसे सरगम की आवाज।।
हर मौसम होते फलदाई,मन पर करते हैं सब राज।
सीमा पर प्रहरी सपूत जो ,नमन करूँ उनको मैं आज।।

आमिर फारूक ने देश पर कहा –

इसकी हर घाट मे है मीठापन,
इसकी हर वात में है सोंधापन।
बड़ा ही दिलकश यह नजारा है,
हम है इसके और यह हमारा है।।

इस अवसर पर विचार व्यक्त करते हुए जन दृष्टि व्यवस्था सुधार मिशन के अध्यक्ष/ संस्थापक हरि प्रताप सिंह राठोड़ एडवोकेट ने कहा कि हिंदी भाषा को पूर्ण राजभाषा का स्थान दिलाने के लिए भारतीय हिंदी सेवी पंचायत निरन्तर प्रयासरत है। हिंदी के उन्नयन के लिए समर्पित भाव से कार्य कर रहे साहित्यकार, कवि, लेखक के कल्याण के लिए योजनाएं बनाने, उनके सम्मानजनक जीवन के लिए अन्य आवश्यक उपाय करने के लिए राष्ट्रीय और अन्तर्राष्ट्रीय हिंदी दिवस पर संगठन द्वारा प्रति वर्ष भारत सरकार और राज्य सरकार को मांग पत्र प्रेषित किए जाते है। इस तरह की विशुद्ध रूप से साहित्यिक गोष्ठियों का आयोजन प्रति माह किया जाएगा तथा छुपी हुई प्रतिभाओं को सार्वजनिक व सम्मानित किया जाएगा।

अंत में डॉ सुशील कुमार सिंह ने सभी का आभार व्यक्त किया।

इस अवसर पर प्रमुख रूप से मीनाक्षी सिंह, डॉ सुशील कुमार सिंह, धनपाल सिंह, रामगोपाल, एम एल गुप्ता, प्यारेलाल, सुरेश पाल सिंह आदि की सहभागिता रही।