बदायूं। चार माह पूर्व थाना क्षेत्र के गांव में एक अधेङ ने शराब के नशे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। जिसमे थाना पुलिस ने कार्यवाही करते हुए एक व्यक्ति को जेल भेज दिया है। वहीं मृतक की पत्नी ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक को प्रार्थना पत्र देकर कहा कि हमारा किसी से कोई विवाद नहीं पुलिस ने जिनको जेल भेजा वह निर्दोष हैं।
आपको बता दें कि थाना क्षेत्र के गांव गौतरा पट्टीभौनी निवासी सतीश शर्मा (45) ने विगत 22 अप्रेल को अपने ही घर में शराब के नशे में बदहवास हालत में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। ग्रामीणों की सूचना पर मौके पर पहुँची थाना पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कराने को कहा तभी परिजनों ने मना कर दिया। पीड़ित महिला ने कहा कि गांव के नरेन्द्र व हेमू पुत्र नत्थू सिंह व उनके लड़को ने पुलिस से मिलकर राजनीति के चलते थोड़ी देर बाद पुलिस ने शव का पंचनामा भर के मृतक सतीश का पोस्टमार्टम करा दिया। पोस्टमार्टम होने के उपरांत परिजनों ने मृतक सतीश की अंत्येष्टि कर दी और चुपचाप घर बैठ गए। सूत्रों की माने तो कुछ समय बीतने के बाद कुछ लोगों ने मृतक की पत्नी चंद शर्मा को थाने पर बुलाकर एक तहरीर पर अंगूठा निशानी करा ली और फिर यहीं से एक खेल शुरू हो गया जिसमें बुधवार को गौतरा निवासी संजय सिंह पुत्र रामपाल व उनके पुत्र सौरभ सिंह को थाना पुलिस ने घर से जबरदस्ती पकड़ लाये और मृतक सतीश का हत्यारा मानते हुए कार्रवाई करना शुरू कर दी। जब मृतक की पत्नी चंद्र शर्मा को इस बात की भनक हुई तो उन्होंने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक बदायूं को दिल्ली से आकर आनन फानन में एक शपथ पत्र सौपा व मुख्यमंत्री के पोर्टल पर डाल दिया और कहा कि हमारा संजय सिंह से कोई भी बात नहीं औऱ न ही कोई विरोध है हम कोई कार्रवाई नही चाहते हैं थाना पुलिस ने उन्हें गलत पकड़ा है,पुलिस एवं हेमू ,नरेन्द्र व उनके लड़को पर कार्यवाही चाहते हैं।पुलिस ने संजय सिंह को जेल भेज दिया और उनके लड़के के साथ मारपीट कर थाने छोड़ दिया है। वहीं सूत्रों की माने तो थाने का एक पुलिस अधिकारी मोटरसाइकिल से थाने से जाकर कुछ दूरी पर सफेद गाड़ी से सवार दो व्यक्तियों से मिलने के बाद थाने आकर फौरन सजंय सिंहः को जेल भेज दिया। क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है कि पुलिस व सफेदपोश ने एक षड्यंत्र रचकर संजय सिंह को फसाया है। वही सूत्रों के हवाले से दारू के नशे में की आत्महत्या को पुलिस ने हत्या का रूप दे दिया औऱ आर्थिक समझौता होने के बाद थाना पुलिस द्वारा आत्महत्या को हत्या का रूप देकर गौतरा निवासी सजंय सिंह पुत्र रामपाल सिंह व उनके पुत्र को घर से उठा लाये झूठे मुकदमे में सजंय सिंह को नामजद कर दिया औऱ पुलिस के उच्चधिकारियों को मनगढ़ंत कहानी सुना कर हत्या की धाराओं में जेल भेज दिया और उनके पुत्र सौरभ को भी थर्ड डिग्री देकर टार्चर किया। जिससे कि थाना क्षेत्र की जनता में पुलिस के खिलाफ आक्रोश देखने को मिला है।