9:45 am Friday , 31 January 2025
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सभी लोगों को भक्ति प्रहलाद की तरह करनी चाहिए:अवध किशोर

बिल्सी के वैन गांव में भागवत कथा का चौथा दिन
बिल्सी। तहसील क्षेत्र के गांव वैन में ग्राम देवता मंदिर परिसर में चल रही श्रीमद्भागवत कथा के चौथे दिन हरदोई से पधारे कथावाचक अवध किशोर महाराज ने भक्त प्रहलाद का प्रसंग सुनाते हुए कहा कि हिरण्यकश्यप अपने भाई की मौत का बदला भगवान विष्णु से लेने के लिए ब्रह्मा जी की तपस्या करने के लिए एक वट के नीचे बैठ गया। जहां देव गुरु वृहस्पति तोता का रूप धारण कर वृक्ष पर बैठ गए और नारायण नाम का रट लगाने लगा। आजिज हिरण्यकश्यप तपस्या छोड़ कर घर आ गया। पत्‍‌नी ने पूछा कि आप तपस्या छोड़कर क्यों चले आए तो तोता की बात बताई। पत्‍‌नी ने भी भगवान के नाम क जप किया और गर्भ ठहर गया और भक्त प्रहलाद के रूप में बालक का जन्म हुआ। जब प्रहलाद गुरुकुल से घर आए तो हिरण्यकश्यप ने पूछा कि क्या शिक्षा ग्रहण किए हो। प्रहलाद भगवान का गुणगान करने लगे। इससे हिरण्यकश्यप क्रोधित हो उठा और कहा कि तुम मेरे शत्रु का गुणगान कर रहे हो। लेकिन प्रहलाद ने भगवान की अराधना नहीं छोड़ी। हिरण्याकश्यप अत्याचार करता रहा और भगवान प्रहलाद को बचाते रहे। एक दिन हिरण्यकश्यपु ने प्रहलाद से कहा कि तुम्हारे भगवान कहां हैं। प्रहलाद ने जवाब दिया कि कण-कण में हैं और इस खंभे में भी हैं। इतना सुनते ही हिरण्यकश्यपु ने तलवार निकाल कर खंभे पर वार कर दिया। तब नरंसिंह के रूप में भगवान प्रकट होकर हिरण्यकश्यप का वध कर देते है। इस मौके पर अवनीश कुमार सिह, गौरव सिंह, डा.अजीत सिंह, सुरेश पाल सिंह, दिनेश कुमार सिंह, सुनील कुमार, धर्मेंद्र कुमार सिंह, निर्भय, अंशुल, बिन्नी, अंकित कुमार आदि मौजूद रहे।