7:41 am Friday , 31 January 2025
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गौर राजपूतो की आस्था का केन्द्र है रेहडिया का कालसैन मंदिर

बिसौली तहसील में परगना सतासी के नाम से प्रख्यात है गौर राजपूत के 87 गांव
वजीरगंज बदायूं
वजीरगंज थाना क्षेत्र के ग्राम रेहडिया में स्थित बाबा कलसेन का मंदिर गौर राजपूत की अटूट आस्था का केंद्र है चैत मास के शुक्ल पक्ष की अष्टमी से लगने वाले मेले में गौर राजपूत के बच्चों का मुंडन संस्कार कराया जाता है मेला शुरू हो गया है जो 18 अप्रैल तक चलेगा बिसौली मार्ग पर स्थित गांव रेहडिया मैं बाबा कालसैन का मंदिर है लगभग साढे चार हजार वर्ष पूर्व रणथंबोर राजस्थान की महारानी विचरण करते हुए यहां आ पहुंची यहां महारानी के रथ के पहिए की धुरी टूट गई और वह यहां ठहर गई और बाद में महारानी ने यहां से जाने से मना कर दिया गौर वंश की महारानी के साथ उनके राजगुरु बाबा कालसैन भी थे राजगुरु से अनुमति लेकर महारानी ने रेहडिया को अपना स्थाई निवास बना लिया यहां महारानी का किला पूरी तरह से खंडहर में तब्दील हो चुका है आज तक पुरातत्व विभाग की निगाहें इस तरफ नहीं गई बाबा की मृत्यु होने के बाद महारानी ने राजगुरु काल सैन का मंदिर बनवाया गांव के बुजुर्गों ने बताया कि क्षेत्र में गौर राजपूत के 87 गांव है गौर राजपूत बाबा काल सैन को अपना कुल गुरु मानते हैं बताया जाता है कि मंदिर पर लगने वाले मेले में सर्वप्रथम गौर वंश की नवजात कन्या का मुंडन करने की प्रथा है मेला अध्यक्ष श्याम पाल सिंह गौर प्रबंधक डॉक्टर सतीश सिंह गौर एवं विनीत सिंह गौर ने बताया की मेले में आने वाले श्रद्धालुओं की आस्था को देखते हुए मेले में बेहतर व्यवस्था के लिए वहीं सुरक्षा की दृष्टि से थाना पुलिस के जवान हर समय मौजूद रहते हैं