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उझानी साइबर क्राइम 15 दिन में कई घटनाएं व्यापारियों में दहशत पुलिस मूकदर्शक

*** उझानी बदायूं 4 मार्च 2024। ना जाने क्या हुआ कि नगर में 15 दिन में साइबर ठगी की कई घटनाएं हो चुकी है। व्यापारियों में दहशत का माहौल है। साइबर क्राइम थाने, सर्विलांस सेल या स्थानीय पुलिस सब मूकदर्शक बने हुए हैं। साइबर ठगों के होंसले इतने बुलंद हैं कि सिलसिलेवार घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं। केशव गर्ग जैसे बुद्धिजीवी ही साइबर ठगों के हमले से बच पाए। काश सभी लोग जागरूक होकर सूझ-बूझ से मोबाइल का इस्तेमाल करें तो इन घटनाओं से बचा जा सकता है। साइबर ठगी का सिलसिला 16 फरवरी को पशुधन अधिकारी ठाकुर योगेश कुमार से शुरू हुआ उनको सीबीआई अधिकारी बताकर बेटे को हिरासत में बता 98000 का चूना लगाया। फिर 20 फरवरी को प्रतिष्ठित सर्राफ व भाजपा के नेता प्रदीप चंद्र गोयल व बेटे शुभम् गोयल को जान से मारने की धमकी देकर पचास लाख रुपए की मांग की। श्री गोयल ने कोतवाली में मय मोबाइल नंबर रिपोर्ट दर्ज कराई। उसके बाद 28 फरवरी को नगर के भाजपा के पूर्व नगर अध्यक्ष आलोक अग्रवाल सर्राफ से साइबर ठगों ने चोरी का माल खरीदने के झांसे में फंसाया, जिसमें पुलिस भी गच्चा खा गये। ओर पुलिस के कहने पर ही 26700 रुपए ट्रांसफर कर दिये गये। पुलिस ने दो दिन बाद अज्ञात के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली। फिर कछला रोड के कास्मेटिक कारोबारी को युवक ने क्यूआर कोड हैंग करके 34400 रुपया से ठग लिया । कल ही बेट्री कारोबारी केशव गर्ग को भी बेटे को रेप के आरोप से हटाने को एक कथित पुलिस अधिकारी ने 40000 ठगने का प्रयास किया। वह तो केशव गर्ग ने बुद्धि ओर विवेक का इस्तेमाल कर अपने आपको ठगने से बचा लिया। केशव गर्ग का कहना है कि दुकानदार लालच का भी शिकार होते हैं। मोबाइल पर अगर आदमी बुद्धि का इस्तेमाल करें ओर पूरी जानकारी के साथ ही पेटीएम व आंनलाइन पेमेंट करे तो इस तरह की घटनाओं से बचा जा सकता है। योगेश कुमार, प्रदीप गोयल, आलोक अग्रवाल, शोभित गुप्ता की रिपोर्ट दर्ज होने के बाद भी आज तक पुलिस किसी अपराधी तक नहीं पहुंच पाई। इससे नगर के व्यापारियों में दहशत का माहौल है। राजेश वार्ष्णेय एमके