राजकीय महिला महाविद्यालय बदायूं में “सड़क सुरक्षा जागरुकता अभियान” के अंतर्गत जनपद स्तरीय भाषण, क्विज़ तथा पोस्टर प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। क्विज़ तथा पोस्टर प्रतियोगिताओं की विषय वस्तु “सड़क सुरक्षा जागरुकता” एवं भाषण का विषय “सड़क सुरक्षा नियमों का अनुपालन और व्यवहारिक चुनौतियाँ” निर्धारित किया गया था जिसकी सूचना पूर्व में ही प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से दी गई थी। उक्त जनपद स्तरीय प्रतियोगिताओं में राजकीय महिला महाविद्यालय बदायूँ से 9, दमयन्ती राज आनन्द राजकीय महाविद्यालय बिसौली से 1, गिन्दो देवी महाविद्यालय बदायूँ से 6, दास महाविद्यालय बदायूँ से 6, एचपी इंस्टिट्यूट से 1 तथा अयोध्या प्रसाद मेमोरियल महाविद्यालय से 3 छात्र-छात्राओं ने प्रतिभाग किया। क्विज प्रतियोगिता में प्रतिभागियों को आधे घंटे का समय दिया गया। भाषण प्रतियोगिता में प्रतिभागियों को 5 मिनट का समय दिया गया। वहीं पोस्टर प्रतियोगिता में प्रतिभागियों को 1 घण्टे का समय दिया गया। तीनों प्रतियोगिताओं में निर्णायक मण्डल में दास महाविद्यालय के प्राध्यापक डॉ० मनवीर सिंह, बदायूँ जनपद के एआरटीओ श्री अमरीश कुमार तथा जिला संगठन आयुक्त भारतीय स्काउट गाइड मो० असरार रहे।
जनपद स्तरीय क्विज़ प्रतियोगिता में राजकीय महिला महाविद्यालय की सदफ़ ने प्रथम, दमयन्ती राज आनंद राजकीय महाविद्यालय बिसौली के विजय पाल ने द्वितीय तथा दास महाविद्यालय बदायूँ की इति पटेल ने तृतीय स्थान प्राप्त किया।जनपद स्तरीय भाषण प्रतियोगिता में राजकीय महिला महाविद्यालय की साफ़िया ने प्रथम, राजकीय महिला महाविद्यालय की मदीहा ने द्वितीय तथा राजकीय महिला महाविद्यालय की ही शिफ़ा मिर्ज़ा ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। वहीं जनपद स्तरीय पोस्टर प्रतियोगिता में राजकीय महिला महाविद्यालय की ईशा खान ने प्रथम, अयोध्या प्रसाद मेमोरियल महाविद्यालय की कोमल सोलंकी ने द्वितीय तथा राजकीय महिला महाविद्यालय बदायूँ की इक़रा सिद्दीक़ी ने तृतीय स्थान प्राप्त किया।
उक्त सभी प्रतियोगिताओं का आयोजन उच्च शिक्षा नोडल अधिकारी (बदायूं) प्रो० स्मिता जैन के मार्गदर्शन में हुआ। सड़क सुरक्षा जागरूकता कार्यक्रमों के जनपद समन्वयक डॉ० राजधन व संयोजक डॉ० सतीश कुमार के सहयोग से श्री बृजेश कुमार, श्री ऋषभ भारद्वाज, कु० सरिता गौतम व श्री आशुतोष कुमार ने प्रतियोगिताओं का सफल आयोजन कराया। कार्यक्रम में समस्त राजकीय महिला महाविद्यालय बदायूँ परिवार का योगदान रहा।