राम के इशारे पर लक्ष्मण ने काटे सूर्पनखा के नाक-कान
बिल्सी। यहां चल रही रामलीला में बीती रात सूर्पनखा नासिका भंग, खर-दूषण वध लीला का मंचन किया गया। मंचन में दिखाया गया कि पंचवटी में सूर्पनखा घूमते हुए पहुंचती है। वह राम-लक्ष्मण के समक्ष विवाह का प्रस्ताव रखती है। लेकिन श्रीराम उसके छल-कपट को पहचान कर अनुज लक्ष्मण के पास भेज देते हैं। लक्ष्मण के विवाह से इंकार करने पर वह क्रोधित होकर अपने असली राक्षसी रूप में प्रकट हो जाती है। श्रीराम का संकेत पाते ही लक्ष्मण ने उसके नाक-कान काट दिए। नाक-कान कटने के बाद वह खर-दूषण के पास जाती है। खर-दूषण राम-लक्ष्मण से युद्ध करने आते हैं और दोनो ही मारे जाते हैं। इसके बाद सूर्पनखा रोते हुए अपने भाई रावण के पास पहुंचकर पूरा वृतांत रावण को बताती है। खर-दूषण के वध के बारे में भी बताती है। तब रावण सूर्पनखा के अपमान का बदला सीता हरण करके लेने को कहता है। वह मारीच को स्वर्ण मृग बनाकर भेजने की योजना बनाता है। जब राम-लक्ष्मण उस मृग को मारने के लिए जाएगें। तब साधू का वेश धारण सीता का हरण कर लंका ले जाएगा।